रांची (RANCHI) : झारखंड में बढ़ रहे नक्सली हमले की रोकथाम के लिए झारखंड पुलिस लगातार सक्रिय है. बढ़ते हमले को देखते हुए डीजीपी अजय कुमार सिंह की अध्यक्षता में नक्सली गतिविधियों को रोकने के लिए नई रणनीति बनाई गई है. इसी बीच झारखंड पुलिस ने राज्य में संचालित 64 संगठनों के खिलाफ जांच का आदेश दिया है. झारखंड पुलिस को गुप्त सूचना मिली है कि झारखंड में संचालित यह संगठन प्रतिबंधित नक्सली संगठन भाकपा माओवादियों के साथ मिल कर गुप्त रूप से काम कर रही है. जिसके बाद अब झारखंड पुलिस इन संगठनों की जांच करेगी.

रांची में सबसे अधिक 29 संगठन संचालित

दावा किया जाता है कि झारखंड के अति नक्सल प्रभावित एरिया जहां नक्सली काफी सक्रिय है. वहां कई ऐसे संगठन मौजूद है जो नक्सलियों के साथ गुप्त रूप से संबंध रखते है. जिसमें रांची, चाईबासा, धनबाद, सरायकेला, गिरिडीह, पाकुड़ चतरा, लातेहार और दुमका शामिल है. जानकारी यह भी है कि रांची जिला में सबसे अधिक 29 ऐसे संगठन है जो संचालित हो रहे है.  

64 संगठन का निकाला गया लिस्ट

बता दें कि झारखंड पुलिस ने 64 संगठन का लिस्ट तैयार किया है, जहां पुलिस जांच करने की तैयारी कर रही है.

जिनमें

  1. झारखंड जनअधिकार महासभा
  2. झारखंड जन संघर्ष मोर्चा
  3. विस्थापन विद्रोही जन विकास आंदोलन
  4. झारखंड क्रांतिकारी मजदूर यूनियन
  5. केंद्रीय जन संघर्ष समिति,
  6. झारखंड काउंसिल फॉर डेमोक्रेटिक राइट्स
  7. आदिवासी वूमेन नेटवर्क संगठन
  8. एसोसिएशन फॉर प्रोटक्शन फॉर सिविल राइट्स
  9. एकता नारी सशक्ति संगठन,
  10. एकता परिषद
  11. झारखंड नागरिक प्रयास,
  12. जंगल बचाओ आंदोलन
  13. झारखंड एनआरईए वॉच
  14. समाजवादी जन परिषद,
  15. ट्राईबल रिसर्च और ट्रेनिंग सेंटर
  16. झारखंड लोकतंत्र बचाओ मंच
  17. यूनाइटेड मिली फोरम
  18. आदिवासी मूलवासी अधिकार मंच
  19. आदिवासी सेंगल अभियान
  20. सीपीआई
  21. बगाईचा
  22. साझा कदम
  23. पीयूसीएल
  24. गांव गणराज्य परिषद
  25. हासा और भाषा जगाओ संगठन
  26. मेहनतकश महिला संघर्ष समिति
  27. आदिवासी मूलवासी विकास मंच
  28. झारखंड किसान परिषद
  29. सोशलिस्ट यूनिटी सेंटर आफ इंडिया
  30. जनवादी सांस्कृतिक विचार मंच
  31. एआईडीएसओ,
  32. एआईडीएफ
  33. द ग्राम सभा और लोकतंत्र न्यूज पोर्टल
  34. जगुआर बालसी
  35. आरवाईए
  36. विस्थापित मुक्ति वाहिनी
  37. झारखंड ऑर्गेनाइजेशन अगेंस्ट रेडिएशन जादूगोड़ा
  38. यूसीआईएल
  39. जल जंगल सुरक्षा समिति
  40. झारखंड विस्थापन विद्रोही एकता मंच
  41. दलमा जन मुक्ति संघर्ष वाहिनी
  42. झारखंड मुक्ति वाहिनी
  43. विस्थापित मुक्ति वाहिनी
  44. दलमा मुक्ति वाहिनी
  45. वन समिति
  46. नीलांबर पीतांबर एकजुटता मंच
  47. जोहर असंगठित मजदूर संघ
  48. विस्थापित साझा मंच
  49. महिला मुक्ति संघर्ष समिति
  50. अखिल भारतीय क्रांतिकारी आदिवासी महासभा
  51. झारखंड जेनरल कामगार यूनियन
  52. आदिवासी हो मार्शल सुसून अखाड़ा
  53. जल जंगल जमीन अधिकार रक्षा मंच
  54. झारखंड क्रांतिकारी महिला समिति
  55. जन जागरण वन अधिकार समिति
  56. खाद्य सुरक्षा जन अधिकार मंच
  57. आदिवासी अधिकार मंच
  58. ह्यूमन रिसोर्स लॉ नेटवर्क
  59. हॉफमैंस लॉ एसोसिएट
  60. यंग स्टार यूनिटी
  61. नव आजादी लोकमंच
  62. आदिवासी संघर्ष मोर्चा
  63. शहीद स्टेन स्वामी न्याय मोर्चा
  64. जोहर फाउंडेशन.

सीमावर्ती क्षेत्रों में बढ़ाई गई सुरक्षा

बता दें कि पिछले दिनों शुक्रवार को रांची पुलिस मुख्यालय में डीजीपी की दिशा निर्देश में झारखंड के तमाम पुलिस बल की बैठक बुलाई गई थी. जिसमें राज्य में क्राइम की घटना के साथ नक्सली संगठन के रोकथाम के लिए रणनीति बनाई गई थी. जिसमें यह निर्णय लिया गया था कि अब पुलिस झारखंड के सीमावर्ती क्षेत्रों में सर्च अभियान चला कर नक्सलियों के विरूद्ध कार्रवाई करेगी. इसे देखते हुए झारखंड-ओडिशा सीमावर्ती क्षेत्र में सबसे अधिक घेरा बंदी कर सर्च अभियान चलाया गया था.

लगातार पुलिस के द्वारा नक्सलियों के विरूद्ध कार्रवाई की जा रही है. जिससे यह अनुमान लगाया जा रहा है कि अब झारखंड पुलिस नक्सलियों के खात्में को लेकर जोरों से काम कर रही. बहरहाल देखना यह होगा कि पुलिस के इस कदम से झारखंड में नक्सली गतिविधि खत्म होती है या नहीं.