टीएनपी डेस्क(TNP DESK): उत्तर प्रदेश में विधानसभा चुनाव के ठीक पहले भाजपा को झटके पर झटके लग रहे हैं. अभी तक 7 विधायक और 2 मंत्रियों ने बीजेपी से इस्तीफा दे दिया है. इन सभी के पार्टी छोड़ने के बाद बीजेपी हाई अलर्ट पर आ गई है. भाजपा अब अपने डैमेज कंट्रोल में जुट गई है. इसी बीच अपना दल की नेता अनुप्रिया पटेल और निषाद पार्टी के संजय निषाद से अनबन की खबरों के बीच बीते दिन गृह मंत्री अमित शाह ने खुद दोनों से मुलाकात कर टिकटों को लेकर बात की. इसके बाद दोबारा वह आज इन नेताओं से मिलने वाले हैं. इस मीटिंग के बाद गठबंधन में दोनों पार्टियों की सीटें तय हो सकती है. खबरों की मानें तो 14 जनवरी को लखनऊ में इसका आधिकारिक ऐलान किया जा सकता है.

15-15 सीटें देने पर बनी सहमति

सूत्रों की मानें तो निषाद पार्टी ने बीजेपी से 15 से 18 सीटों पर लड़ने की मांग की थी. ऐसा अनुमान है कि अमित शाह 15 सीट देने के लिए तैयार हैं. इससे पहले निषाद पार्टी के नेता सजाय निषाद ने भी कहा था कि उनकी पार्टी 15 सीटों पर चुनाव लड़ सकती है. वहीं ऐसी भी खबरें सामने आ रही है कि निषाद पार्टी के ही सिंबल पर भाजपा के भी कुछ उम्मीदवार चुनाव लड़ सकते हैं. निषाद पार्टी के अलावा अनुप्रिय पटेल को भी गृह मंत्री अमित शाह ने 15 सीट देने पर सहमति जताई है. हालांकि, अनुप्रिय पटेल 30 से 35 सीट की मांग कर रही थी.

लगातार विधायकों और मंत्रियों के इस्तीफे से भाजपा पर दबाव बढ़ गया है. वहीं स्वामी प्रसाद मौर्य, दारा सिंह चौहान जैसे पिछड़े नेताओं के भाजपा के अलग होने के बाद अपना दल और निषाद पार्टी ने भी दबाव बनाना शुरू कर दिया है. ऐसे में भाजपा सोच समझकर कदम बढ़ा रही है. बीजेपी गठबंधन में सीट बंटवारे में भी संतुलन बना कर चलना चाहती है.