पटना(PATNA): राष्ट्रीय जनता दल की पटना में आयोजित राज्य परिषद की बैठक के बाद पार्टी के निलंबित नेता और पूर्व स्वास्थ्य मंत्री तेज प्रताप यादव का गुस्सा एक बार फिर सोशल मीडिया के माध्यम से फूट पड़ा है. हालांकि वे पार्टी से 6 साल के लिए निलंबित किए जा चुके हैं, लेकिन तेज प्रताप लगातार पार्टी और अपने पिता लालू प्रसाद यादव के प्रति भावनात्मक जुड़ाव और राजनीतिक आक्रोश दोनों जाहिर करते रहे है.

सोशल मीडिया पर किया भावनात्मक पोस्ट 

राज्य परिषद की बैठक समाप्त होने के कुछ ही देर बाद तेज प्रताप ने अपने सोशल मीडिया अकाउंट पर एक पोस्ट जारी करते हुए लिखा है मेरी खामोशी को मेरी कमजोरी समझने की भूल मत करना. ये मत समझना कि मुझे तुम्हारी साजिशों का पता नहीं. शुरुआत तुमने किया है, अंत मैं करूंगा. झूठ और फरेब के बनाये इस चक्रव्यूह को तोड़ने जा रहा हूं.तैयार रहना, सच सामने आने वाला है. मेरी भूमिका मेरी प्यारी जनता और माननीय सर्वोच्च न्यायालय तय करेगा, कोई दल या परिवार नहीं.

पढें क्या है इस पोस्ट के मायने

तेज प्रताप का यह बयान सीधे तौर पर पार्टी के शीर्ष नेतृत्व, खासकर तेजस्वी यादव की ओर इशारा करता नजर आता है.राजनीतिक विश्लेषकों के मुताबिक, यह पोस्ट इस बात का संकेत भी हो सकता है कि तेज प्रताप आने वाले समय में या तो नई राजनीतिक राह चुन सकते हैं या कानूनी मोर्चे पर आरजेडी नेतृत्व को चुनौती दे सकते है.राजनीति में अनिश्चितताएं हमेशा मौजूद रहती है.तेज प्रताप की राजनीतिक शैली और अब इस तरह के पोस्ट ये संकेत जरूर देते हैं कि वे आने वाले समय में कोई बड़ा फैसला ले सकते है.ऐसे में यह देखना दिलचस्प होगा कि क्या वे 'तेज प्रताप बनाम राजद नेतृत्व' के नए राजनीतिक अध्याय की शुरुआत करेंगे, या फिर सुलह की कोई राह निकलती है.