रांची(RANCHI)- आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत तीन दिनों के प्रवास पर झारखंड पहुंच चुके हैं, कामख्या एक्सप्रेस से हटिया स्टेशन उतरते ही वह लोहरदगा के लिए रवाना हो गयें, जहां वे 16 मई से 18 मई तक स्वयंसेवक प्रशिक्षण कार्यक्रम में हिस्सा लेगें और द्वितिय वर्ष के स्वयं सेवकों को आरएसएस की विचारधारा से लैस करेंगे. इस प्रशिक्षण कार्यक्रम में प्रथम वर्ष के 388 स्वयंसेवक और द्वितीय वर्ष के 100 से अधिक स्वयंसेवकों के शामिल होने की संभावना है, 20 दिवसीय इस प्रशिक्षण कार्यक्रम का समापन 2 जून को होना है.
ध्यान रहे कि आरएसएस के द्वारा इस तरह के कार्यक्रमों का आयोजन प्रतिवर्ष किया जाता है, इन कार्यक्रमों में स्वयं सेवकों को शारीरिक और बौद्धिक विकास की गतिविधियां चलायी जाती है. प्रथम एवं द्वितीय वर्ष का प्रशिक्षण वर्ग अलग-अलग प्रांतों में किया जाता है, जबकि तृतीय वर्ष का प्रशिक्षण कार्यक्रम केवल संघ मुख्यालय नागपुर में लगाया जाता है.
उनकी यात्रा को लेकर बरती जा रही गोपनीयता
हालांकि उनकी इस यात्रा को लेकर काफी गोपनीयता बरती जा रही है, कार्यक्रमों को लेकर मीडिया संस्थानों को कोई विशेष जानकारी नहीं दी जा रही है, लेकिन 2024 के लोकसभा चुनाव के पहले उनका यह झारखंड का दौरा बेहद अहम माना जा रहा है. इस दौरान उनकी नजर झारखंड की राजनीति की जमीनी सच्चाईयों से रुबरु होने की भी होगी. उन राजनीतिक-सामाजिक मुद्दों की पहचान की होगी, जिसके आसरे 2024 से पहले एक बार फिर से झारखंड में भाजपा की जमीन को खड़ा किया जा सके, साथ ही उनकी एक नजर भाजपा संगठन पर भी होगी, खास कर उन बड़बोले नेताओं पर, जो महज जुबानी जंग चलाकर अखबारों की सुर्खियों में तो बने रहते हैं, लेकिन जमीन पर जिनकी कोई उपस्थिति नहीं होती.
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