जमशेदपुर(JAMSHEDPUR): जिउतिया पर्व में मां अपने बच्चों की सलामती के लिए व्रत रखती हैं, लेकिन इसी दिन यदि बच्चे की मौत की सूचना मिले तो मां के दर्द को महसूस कर सकते हैं. इस जिउतिया में अबतक ऐसी दो दर्दनाक कहानी सामने आई है. पहली घटना धनबाद से मिली थी. यह खबर जमशेदपुर की है. 

जेम्को निवासी 15 वर्षीय किशोर ऋषि गुप्ता अपनी मां के साथ बागबेड़ा बडौदा घाट रविवार को पहुंचा था. नदी में नहाने के दौरान  पानी में डूब गया और उसके बाद उसका कुछ नहीं पता चल पाया. स्थानीय पुलिस ने गोताखोरों की मदद से शाम तक उसे खोजने का प्रयास किया पर गोताखोरों को निराशा ही हाथ लगी. सुबह स्थानीय लोगों ने शव को नदी तट के किनारे पर तैरता हुआ देखा और इसकी सूचना परिजनों को और पुलिस को दी, परिजन नदी तट पर पहुंचे और अपने पुत्र की पहचान की.

पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है, जानकारी देते हुए बागबेड़ा पुलिस पदाधिकारी ने बताया कि मां के साथ जितिया पर्व मनाने आए किशोर के डूब जाने से मौत हो गई, जहां उसका शव बागबेडा बडौदा घाट नदी तट पर तैरता हुआ मिला है, फिलहाल शव को कब्जे में लेकर आगे की कार्रवाई की जा रही है.  

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स्थानीय के मदद से निकाल गया बाहर 

बागबेडा बडौदा घाट में इस किशोर के साथ कल एक महिला और अन्य किशोर भी पानी में डूब गए थे. जहां स्थानीय लोगों की मदद से उन्हें कड़ी मशक्कत से बाहर निकाला गया. बागबेड़ा बड़ौदा नदी घाट डेंजर जोन की श्रेणी में आ चुका है.  जितिया पर्व के दौरान नदी घाट में काफी भीड़ होती है, पर सुरक्षा के दृष्टिकोण से जिला प्रशासन के द्वारा किसी तरह की कोई तैयारी ना होना अपने आप में सवाल खड़ा करता है. 


रिपोर्ट : रंजीत ओझा (जमशेदपुर)