रांची(RANCHI): झारखंड में बढ़ रही आदिवासी बच्चियों पर दरिंदगी और अत्याचार के घटना को लेकर रांची के अल्बर्ट एक्का चौक पर आदिवासी सेंगल अभियान के बैनर तले विरोध प्रदर्शन किया गया. विरोध कर रहे लोगों ने दरिंदों का पुतला भी दहन किया है. आदिवासी सेंगल अभियान ने दोषियों को फांसी की सजा देने की मांग की है. साथ ही प्रभावित परिवार को एक-एक करोड़ रूपये मुआवजा देने की मांग की है.
सीएम हेमंत सोरेन सिर्फ आदिवासी होने का पिटते हैं ढ़िढ़ोरा
आदिवासी सेंगल अभियान के नेता सलखन मुर्मू ने कहा कि मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन सच्चा आदिवासी होने का ढिंढोरा पिटते हैं.लेकिन सभी वादे सिर्फ विज्ञापन तक ही सीमित हो जाते है. झारखंड के आदिवासियों की दुर्दशा के लिए जेएमएम को दोषी ठहराया है. आदिवासी सेंगल अभियान संगठन का मानना है कि झामुमो ने कभी भी आदिवासी समाज में फैले अंधविश्वास डायन प्रथा, नशा पान, वोट की खरीद बिक्री जैसे मुद्दों पर कभी काम नहीं किया है.
तीन वर्ष बीत जाने के बाद भी नहीं हुआ कोई कार्य
आदिवासी सेंगल अभियान के नेताओं ने कहा कि संथाली को झारखंड की प्रथम राजभाषा बनाने सरना धर्म कोड के मान्यता स्थानीय नीति, न्यायसंगत आरक्षण नीति, नियोजन नीति, विस्थापन के खिलाफ पुनर्वास नीति बनाने पर भी झामुमो सरकार ने तीन वर्ष बीत जाने के बाद कुछ नहीं किया है. झामुमो सिर्फ वोट बैंक की राजनीति कर रही है.

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