दुमका (DUMKA) जिला मुख्यालय से महज 20 किलोमीटर दूर जामा प्रखंड के बारापलासी के निकट स्थित है तातलोई का गर्म जल कुंड. प्रकृति के बीच में तातलोई नदी के किनारे स्थित है. गर्म जल कुंड से सालों भर गर्म जल निकलता है. झारखंड सरकार के पर्यटन मानचित्र पर इसका नाम तो है. लेकिन इस स्थल का आज तक सही रूप में विकास नहीं हो पाया है. गर्म जल कुंड में स्नान करने सालों भर लोग आते हैं, लेकिन नव वर्ष के अवसर पर पिकनिक मनाने और मकर संक्रांति के मौके पर यहां लगने वाले तीन दिवसीय मेले में काफी संख्या में लोग पहुंचते हैं. लेकिन यहां सुविधाओं की घोर कमी है. स्थल पर गंदगी का अंबार है. शौचालय की समुचित व्यवस्था नहीं है.

यह है महत्व

ऐसा कहा जाता है कि गर्म जल कुंड में स्नान करने से चर्म रोग संबंधित तमाम बीमारियां दूर होती है. इस स्थल का धार्मिक महत्व भी है. मकर संक्रांति के मौके पर यहां तीन दिवसीय मेला लगता है. जिसमें सफाहोड़ समुदाय के लोग काफी संख्या में यहां पहुंचते हैं. अपनी वार्षिक पूजा संपन्न करते हैं.  वर्तमान समय में इस स्थल तक पहुंचने के लिए सड़क का भी निर्माण किया जा रहा है और तातलोई नदी पर पुल का निर्माण कार्य शुरू कर दिया गया है. लेकिन कई ऐसे विकास कार्य हैं जो यहां किए जाने बाकी है. स्थानीय लोगों की माने तो इस स्थल को पर्यटन स्थल के रूप में विकसित करने से लोगों को रोजगार भी मिलेगा. 

जिम्मेवार का कहना है

दुमका सांसद सुनील सोरेन का कहना है कि जिस वक्त राज्य में भाजपा की सरकार थी इसे पर्यटन स्थल के रूप में विकसित करने की प्रक्रिया शुरू की गई थी लेकिन सरकार बदलते ही मामला अधर में लटक गया. उन्होंने कहा कि केंद्रीय पर्यटन मंत्री से भी उन्होंने इस मुद्दे पर बात की है और पर्यटन मंत्री ने भरोसा दिया कि राज्य सरकार के माध्यम से प्रपोजल केंद्र भेजने पर इस स्थल का समग्र विकास हो पाएगा. उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ना तो खुद विकास कर रही है और ना ही इस स्थल को विकसित करने के लिए केंद्र सरकार के पास प्रपोजल भेज रही है. यही वजह है कि विकास कार्य अधर में लटका हुआ है.

रिपोर्ट : पंचम झा, दुमका