धनबाद(DHANBAD)जनता चिल्ला रही पानी-पानी और अधिकारी खेल रहे पावर -पावर का खेल. जी धनबाद शहर से सटे कोलाकुसमा और कुसुमविहार इलाके में पानी संकट इसी खेल का नतीजा है. इलाके में रहने वाले लोग अधिकारियों के द्वारे द्वारे घूम रहे हैं और पानी मांग रहे हैं. दरअसल पानी संकट दो विभागों में आपसी सामंजस्य नहीं होने के कारण पैदा हुआ है. इस बात को पी एच इ डी विभाग भी स्वीकारता है. दरअसल ,नगर निगम की एजेंसी जुडको इलाके में हर घर में जल नल योजना के तहत पाइपलाइन बिछा रही है और साथ ही साथ पीएचइडी विभाग को बिना जानकारी दिए कनेक्शन करती जा रही है.
पुराने कनेक्शन धारी को पानी नहीं मिल रहा है
नतीजा है कि जो लोग बहुत पहले कनेक्शन लिए हुए हैं ,उन तक पानी पहुंचता ही नहीं है.पानी बीच में ही बट जा रहा है.यह स्थिति पिछले कई महीनो से बनी हुई है.जुडको नगर निगम की एजेंसी है और वह बिना अपना बेसिक इंफ्रास्ट्रक्चर तैयार किए ही पाइप बिछाकर अपनी उपलब्धि बताने के लिए ताबड़तोड़ कनेक्शन कर रही है.जुडको का जलमीनार ढांगी पहाड़ पर प्रस्तावित है.अभी टंकी निर्माणाधीन है लेकिन पानी कनेक्शन जुडको कर दे रहा है.लगातार शिकायत मिलने के बाद कल The News post की टीम ग्राउंड जीरो पर पहुंची,कोला कुसमा होते हुए यह टीम कुसुम विहार उदय इनक्लेब तक गई, जहां कम से कम आधा दर्जन जगहों पर पाया गया कि बाल्व खोलकर पानी चालू कर दिया गया है और इसकी जानकारी पीएचइडी विभाग को नहीं है.पीएचइडी विभाग के एक्सक्यूटिव इंजीनियर मनीष कुमार अपनी पूरी टीम के साथ निरीक्षण कर रहे थे.स्थलीय जांच से पीएचइ डी के इंजीनियर को पता चला कि विभाग को बिना बताएं कनेक्शन दे दिया गया है.नतीजा है कि पिछले दो-तीन सालों में जो नई कॉलोनी बसी हैं,उनको तो पानी मिल जा रहा है लेकिन पुराने कनेक्शन धारी को पानी नहीं मिल रहा है.
लोग बूंद-बूंद पानी को तरस रहे है
बता दें कि झारखंड पेट्रोलियम डीलर्स एसोसिएशन के अध्यक्ष सह वरीय कांग्रेस नेता अशोक कुमार सिंह के अथक प्रयास से पीएचइडी की टीम आज कारण ढूंढने पहुंची थी कि आखिर कोला कुसमा के उदय इनक्लेब सहित आसपास के इलाकों को पानी मिल क्यों नहीं रहा है. अशोक सिंह ने कहा कि यह पूरी तरह से नगर निगम की मनमानी का प्रतिफल है. उन्होंने कहा कि जब उन्होंने नगर आयुक्त सतेंद्र कुमार से टेलीफोन पर बात की तो नगर आयुक्त ने अपना पल्ला झाड़ लिया और कहा कि निगम सिर्फ पैसा कलेक्ट करता है.पानी सप्लाई हो रहा है या नहीं ,यह देखना उसका काम नहीं है.अशोक सिंह ने सवाल किया है कि तो फिर जुडको तो नगर निगम की एजेंसी है. वह बिना नगर निगम की अनुमति के ही क्या कनेक्शन कर रही है. क्या निगम के अधिकारी कभी स्थल पर जाकर जांच पड़ताल किए है. बीच सड़क पर जो बाल्व लगाए गए हैं,गाड़ियों के चलने से टूट गए है. किसी भी दिन हादसा भी हो सकता है और पानी सप्लाई भी बाधित हो सकती है. लेकिन कभी इसकी जांच पड़ताल नहीं की गई. उन्होंने सवाल किया है कि कोलाकुसमा में पानी पहुंचाने की वैकल्पिक व्यवस्था का एक ब्लू प्रिंट पीएचईडी विभाग ने दिया था, लेकिन उस पर निगम हाथ धरे बैठा रहा और जब पानी के लिए लोग तरस रहे हैं तो निगम कह रहा है कि उसे पानी सप्लाई से कोई मतलब नहीं है. दूसरी ओर इलाके के लोग बूंद-बूंद पानी को तरस रहे है. अशोक सिंह का सवाल है कि आखिर निगम इतना लापरवाह क्यों हो गया है.अपनी नैतिक जिम्मेदारी से वह भाग क्यों रहा है,लोग निगम को पैसा देते हैं तो शिकायत तो निगम से ही करेंगे.उपाय भी तो उसी को करना चाहिए. उस पर इस तरह का नगर आयुक्त का जवाब कहां तक उचित है.
पिछले कई महीनों से अधिकारियों के दरवाजा खटखटा रहे हैं
दूसरी ओर पीएचइ डी के कार्यपालक अभियंता मनीष कुमार ने कहा कि नई कॉलोनियों में बिना अनुमति और सूचना के कनेक्शन कर दिए जाने के कारण पानी की समस्या उत्पन्न हुई है.इसके लिए उन्होंने निगम के पास एक प्रस्ताव भी भेजा था कि सभी को पानी मिले लेकिन निगम इस पर कोई काम नहीं किया और स्थिति आज विकराल रूप ले ली है.बता दें कि लोग पिछले कई महीनों से अधिकारियों के दरवाजा खटखटा रहे है. The Newspost में खबर दिखाने के बाद कांग्रेस नेता अशोक सिंह ने पहल की और उन्होंने निगम के नगर आयुक्त सत्येंद्र कुमार सहित पीएचईडी के कार्यपालक अभियंता मनीष कुमार से बात की और उन्हीं के अनुरोध पर कार्यपालक अभियंता बुधवार को स्थल निरीक्षण को गए थे.जहां हालात और स्थिति देखकर उन्होंने भी माथा पीट लिया.दूसरी ओर कॉलोनी के लोगों को आज की पहल के बाद भरोसा जगा है कि उन्हें पानी जल्द मिल जाएगा.कॉलोनी के भूपेंद्र तिवारी ने कहा कि सारे लोग अशोक सिंह के प्रति कृतज्ञ है.जिन्होंने प्रयास कर अधिकारियों को को स्थल निरीक्षण को लाया.अब हम लोगों को उम्मीद है कि पानी जल्द मिलने लगेगा.
कब तक मिलेगी जनता को राहत
अब देखना है कि स्थलीय निरीक्षण के बाद लोगों को कब तक राहत मिलती है.वैसे पीएचइडी के अधिकारी सहित पानी पहुंचाने के अभियान की अगुवाई कर रहे अशोक कुमार सिंह को भरोसा है कि बहुत जल्द ही लोगों को पानी मिलने लगेगा.लेकिन सवाल उठता है कि बिना जमीनी तैयारी के इस तरह से काम करना जनता को परेशानी में डालने के सिवा और क्या हो सकता है.अधिकारी अपना कागज दुरुस्त कर लेंगे ऊपर के अधिकारियों से पीठ ठोकवा लेंगे लेकिन जनता को परेशानी में डाल कर यह सब करना कहा तक सही है.अधिकारियों की भी कोई नैतिक जिम्मेवारी होनी चाहिए.
रिपोर्ट : प्रकाश महतो(धनबाद )

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