टीएनपी डेस्क (Tnp desk):-कांग्रेस से राज्यसभा सांसद धीरज साहू के ठिकानों से इनकम टैक्स को 300 करोड़ से ज्यादा की रकम मिलने से देश भर में चर्चा बनीं हुई हैं. भाजपा इंडिया गठबंधन और कांग्रेस पर हमला करके सियासत भी गर्म कर दिया है. यहां तक की आम आवाम भी इतने नोटों की गड्डी मिलने की सच्चाई जानने के लिए बैचेन हैं. शिकायते ये भी है कि आखिर इस पर खुद धीरज साहू क्यों नहीं स्पष्टीकरण दे रहे हैं. उनकी खामोशी भी कई सवालों को जन्म दे रही है. मुद्दा तो गरम होना लाजमी है और सवाल खड़े होने भी उचित हैं. क्योंकि इतनी बड़ी रकम अलमारियों में सजा के रखने का आखिर क्या औचित्य हैं. आखिर ये पैसा नकदी में क्यों रखा गया था. सवाल ये भी है कि अगर उनके कारोबार का पैसा था तो अलमारियों की बजाए बैंक में रहनी चाहिए. कही न कही ये टैक्स की चोरी से जुड़ा मामला हो सकता है .
कांग्रेस ने किया किनारा
कांग्रेस ने भी अपने नेता का पल्ला झाड़ लिया . झारखंड के पूर्व कांग्रेस प्रभारी और वरिष्ठ नेता जयराम रमेश ने तो साफ-साफ कह दिया कि इससे पार्टी का कोई लेना देना नहीं, धीरज साहू को खुद इस पर अपनी बात रखकर स्पष्टीकरण रखना चाहिए. लेकिन, चार दिन से ज्यादा बीत गये, न कुछ भी बयान या कोई सुगबुगाहट सांसद धीरजा साहू की तरफ से आया और न ही उनके प्रतिष्ठान की तरफ से. बताया और आकलन किया जा रहा है कि ये रकम पांच सौ करोड़ तक पहुंच सकती है. इन नोटों की गड्डियां गिनते-गिनते मशीन गर्म होकर बंद हो जा रही है. कर्मचारी भी परेशान और थके-थके लग रहे हैं. इनकम टैक्स डिपार्टमेंट को भी अंदाजा नहीं था कि इतनी बड़ी रकम मिलेगी.
झारखंड भाजापा का आंदोलन
ओडिशा, लोहरदागा ,रांची, बोकारों में उनके ठिकानों पर की गई रेड में बेशुमार पैसा मिला, कुबेर के इस खजाने को मिलने से भाजपा का एक बेहतरीन मौका लोकसभा चुनाव से मिल गया. कांग्रेस के भ्रष्टाचार की तस्वीर लगातार इसके जरिए पेश कर रही है. खुद प्रधानमंत्री इसे लेकर कांग्रेस की ईमानदारी और कथनी-करनी को लेकर सवाल खड़े कर दिया है. झारखंड में तो इसे लेकर सियासी तूफान और बवंडर मचा हुआ. सियासी कीचड़ भी खूब कांग्रेस पर उछाला जा रहा है और उसे भ्रष्टा पार्टी बोला जा रहा है. जो जनता के पैसे को लूट रही है . इन तोहमतों और शिकायतों के बीच तरह-तरह की बाते भी सुनाई पड़ रही है. झारखंड भाजपा तो पूरे राज्य में इस मसले को लेकर आंदोलनरत हैं. बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष बाबूलाल मरांडी की माने तो इतनी बड़ी राशि के इकट्ठा होने के पीछे कांग्रेस के शीर्ष नेतृत्व का संरक्षण है, उन्होंने इसे मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन की मिलभगत भी होने की बात कही हैं. इतना ही नहीं भाजपा ने तो धीरज साहू को गांधी परिवार का एटीम करार दिया
इस मुद्दे को भुनाने की कवायद में बीजेपी
भ्रष्टाचार पर लगातार ईडी, सीबीआई और आयकर विभाग का छापा कही न कही पूरे देश में इन दिनों पड़ ही रहा है. इसकी जद में कई नामचीन लोग अभी भी फंसे हुए हैं. भाजपा लगातार भ्रष्टाचार के खिलाफ मुखर होकर बोलती रही है. और गारंटी देती है कि जनता का पैसा पाई-पाई लौटाना पड़ेगा. तीन विधानसभा चुनाव में जीत की हैट्रिक लगाने के बाद भाजपा अब लोकसभा चुनाव में उसी सफलता को दोहराना चाहती है. बीजेपी की कोशिश धीरज साहू के घरों से मिले बेशुमार नोटों की गड्डी को चुनाव में भुनाने की हैं.
धीरज साहू के चलते परेशान कांग्रेस
इधर, कांग्रेस के सामने मुसीबत और पशोपेश ये है कि, वह इस पर कुछ बोलना ही नहीं चाहती, साफ-साफ से इससे कन्नी काटकर हट जाना चाहती है. उसे डर उसके वोट बैंक बिदकने का है , क्योंकि वो जानती है कि इस बार अगर मोदी सरकार आयी, तो लगातार 15 साल वह केन्द्र की सत्ता से बाहर हो जाएगी. झारखंड के स्वास्थ्य मंत्री और कांग्रेस नेता बन्ना गुप्ता की माने तो आयकर विभाग को ही इसे साफ करना चाहिए, क्योंकि ये रिश्वत का पैसा नहीं है. धीरज साहू और उनके परिवार का ब़ड़ा कारोबार है. हालांकि, वो भी पार्टी लाइन की ही बात करते हैं और ये मानते है कि ये प्रकरण धीरज साहू का निजी मामला है, जिससे कांग्रेस का कई लेना-देना नहीं है
साफ है, कांग्रेस पार्टी कोई भी खतरा लोकसभा चुनाव में मोल लेना नहीं चाहती, उसकी कोशिश है किसी भी तरह से इसे किनारा किया जाए, ताकि उनका वोटबैंक न बिगड़े. जबकि देखी जाए तो धीरज साहू का परिवार कांग्रेस से लंबे समय से जुड़ा हुआ. इसके बावजूद कांग्रेस का किनारा करना उन्हें भी खटक रहा है. इस मुश्किल और इम्तहान भरे वक्त में ऐसा लगता है कि धीरज साहू अकेले पड़ गये हैं. जहां उन्हें अपने बलबूते ही निकलना होगा.
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