दुमका (DUMKA): कहते है प्रतिभा किसी परिचय का मोहताज नहीं होती. तभी तो दुमका जैसे क्षेत्र से पढ़ाई शुरू करने वाले रसिकपुर निवासी सौरभ सिन्हा ने यूपीएससी की परीक्षा में 49वा रैंक हासिल कर न केवल दुमका बल्कि झारखंड का नाम रौशन किया है. सौरव ने यह उपलब्धि चौथे प्रयास में हासिल की. संताल परगना के दुमका जैसे पिछड़े क्षेत्र से सौरव सिन्हा का UPSC परीक्षा में देशभर में 49 वां रैंक प्राप्त करना बड़ी उपलब्धि मानी जा रही है.

बधाई देने वालों का लगा तांता

झारखण्ड की उपराजधानी दुमका के सौरव सिन्हा की इस उपलब्धि के बाद परिवार में हर्ष का माहौल है और बधाइ देने वालों का ताँता लगा हुआ है. सौरव के माता  पिता ने एक दूसरे को मिठाई खिलाकर खुशियाँ बांटी.

माता पिता को फोन कर बताया, मैं आईएएस बन गया

सौरव फिलहाल लखनऊ स्थित नारायणा इंस्टिट्यूट में प्रोफेसर है औऱ वहीं से अपने माँ औऱ पिता को फोन कर कहा कि _मैं आईएएस बन गया हूँ. यह सुनते ही माता -पिता औऱ परिवारवालों में ख़ुशी की लहर दौड़ पड़ी.

पिता है बार एसोसिएशन के हेड क्लर्क, मां है गृहणी

सौरव के पिता प्रियव्रत सिन्हा पेशे से दुमका बार एसोसिएशन में हेड क्लर्क है औऱ माँ विभा सिन्हा सफल गृहणी है. सौरव औऱ ऋषभ उनके दो पुत्र है जिसमें सौरव बड़ा पुत्र है. सौरव की प्रारम्भिक शिक्षा दीक्षा दुमका के ग्रीन माउंट एकेडमी से हुई जहाँ से सौरव ने 10वी औऱ 12वी की परीक्षा पास की. फिर सौरव ने दूसरे प्रयास में जे ई ई मेंस में सफलता हासिल की औऱ फिर IIT खड़गपुर से B. Tech औऱ M. Sc. की डिग्री हासिल की.

पिता प्रियव्रत सिन्हा ने कहा कि सौरव की उपलब्धि से वो काफी गर्व औऱ ख़ुशी महसूस कर रहे है. सौरव शुरू से लगनशील औऱ मेहनती है। वहीं माँ विभा सिन्हा ने कहा कि दोपहर में जब सौरव ने फोन पर सूचना दी तो वो ख़ुशी से उछल पड़ी. अपनी ख़ुशी वो जाहिर नहीं कर पा रही है. हमलोगों ने उसे शुरू से पढ़ाई में हर संभव सहायता की. वो बहुत मेहनती है औऱ समय के महत्व को उसने बखूबी समझा.

रिपोर्ट: पंचम झा