खूंटी(KHUNTI): पिछले दिनों अड़की थाना अंतर्गत ग्राम मदहातू टोला कोदेलेबे में ग्राम प्रधान बयार सिंह मुंडा उर्फ सुखराम मुंडा सहित उसके पुत्र व पुत्रवधू की हुई सनसनीखेज हत्याकांड में शामिल उसी गांव के पांच आरोपियों को गिरफ्तार कर पुलिस ने इस ट्रिपल मर्डर की गुत्थी को सुलझा लिया है.

 गिरफ्तार आरोपियों में  मृतक ग्राम प्रधान का 19 वर्षीय भतीजा सिंगराय हरिबीना, चंबरा चुटिया पूर्ति (22 वर्ष), बिरसा हरिबीना (21 वर्ष), विकराय हरीबीना (22 वर्ष) जाबोर चुटिया पूर्ति (19 वर्ष) शामिल हैं. मामले की पूरी जानकारी पुलिस अधीक्षक अमन कुमार ने सोमवार को प्रेस वार्ता कर दी.

गिरफ्तार आरोपियों ने पुलिस के समक्ष अपना अपराध स्वीकार करते हुए बताया कि पूर्व में माओवादियों के साथ संबंध और उग्रवादी कांड में संलिप्त रहे मृतक ग्राम प्रधान दबंग प्रवृत्ति का था. वह आए दिन गांव में माओवादियों को बुलाकर अन्य ग्रामीणों को बेवजह धमकाते और मारपीट किया करते थे. इसके साथ ही हत्याकांड में गिरफ्तार उसका भतीजा सिंगराय हरिबीना की चाहत ग्राम प्रधान बनने की थी. लेकिन अपने ग्राम प्रधान चाचा और उसके बेटे के जिंदा रहते वह ग्राम प्रधान नहीं बन सकता था. अपनी इसी चाहत की पूर्ति के लिए वह अपने ग्राम प्रधान चाचा और उसके बेटे को ठिकाने लगाना चाहता था. दूसरी ओर मृतक ग्राम प्रधान का डाड़ी गांव के एक महिला के साथ अवैध संबंध था. इस अवैध संबंध को लेकर भी ग्रामीणों में ग्राम प्रधान के चरित्र को लेकर नाराजगी थी. इन्हीं सब कारणों के कारण 22 परिवार वाले कोदेलेबे गांव के अधिकांश ग्रामीण ग्राम प्रधान और उसके बेटे सिंगा मुंडा की हत्या करने की योजना बनाई. योजना को अंजाम देने के लिए ग्रामीणों ने मंगलवार को एक बैठक भी की. लेकिन उस दिन अनवरत बारिश होने के कारण इस योजना को टाल दिया गया और दूसरे दिन बुधवार की आधी रात इस नृशंस हत्याकांड को अंजाम दिया गया. एसपी ने बताया कि इस हत्याकांड में 22 परिवार वाले कोदेलेबे गांव के अधिकांश घरों के सदस्य सहित 20 से अधिक आरोपित शामिल थे.आरोपितों में कुछ लोग दूसरे गांव के भी थे.हत्याकांड में शामिल अन्य फरार आरोपियों की तलाश के लिए पुलिस छापामारी जारी है.गिरफ्तार आरोपितों की निशानदेही पर पुलिस ने हत्या में प्रयुक्त खून लगा डंडा बरामद कर लिया है.

 एसपी ने बताया कि हत्याकांड में गांव के अधिकांश ग्रामीण शामिल थे, इसलिए हत्याकांड की खबर 24 घंटा बाद तक गांव के बाहर नहीं पहुंचा.  बुधवार की आधी रात हुई हत्याकांड की सूचना शुक्रवार को पुलिस को मिलने पर पुलिस मौके पर पहुंची और अनुसंधान शुरू किया. मामले की गंभीरता को देखते हुए उन्होंने एसडीपीओ अमित कुमार के नेतृत्व में एक विशेष एसआईटी का गठन किया. एसआईटी में शामिल पुलिस अधिकारियों ने कुछ ग्रामीणों को हिरासत में लेकर जब उनसे अलग-अलग पूछताछ की तो मामले का खुलासा हो गया. इस तरह पुलिस ने मामला संज्ञान में आने के 72 घंटे के अंदर इस सनसनीखेज हत्याकांड का खुलासा कर लिया.

छापेमारी दल ये थे शामिल

 खूंटी एसडीपीओ अमित कुमार के नेतृत्व में गठित छापामार टीम में अड़की थाना प्रभारी नरसिंह मुंडा, मुरहू थाना प्रभारी पंकज कुमार दास, सायको थाना प्रभारी रितेश कुमार महतो, अड़की थाना के एसआई विवेक कुमार महतो, सुशांत सुंडी, मनोज तिर्की, लालजीत उरांव, सायको थाना के एसआई भरत रंजन पाठक, चंद्रशेखर पिंगुआ, मुरहू थाना के एएसआई श्यामजीत किस्कू सहित अड़की, मुरहू व सायको थाना के सशस्त्र बल के जवान शामिल थे.

रिपोर्ट: मुजफ्फर हुसैन, खूंटी