देवघर(DEOGHAR): एक ओर पूरा विश्व योग दिवस मना रहा है वही दूसरी ओर एम्स में आज से इमरजेंसी सेवा शुरू हो गई है. झारखंड का एकमात्र ऐम्स देवघर के देवीपुर में संचालित हो रहा है. फिलहाल यहाँ सिर्फ ओपीडी सेवा का लाभ ही लोग ले पाते थे. लेकिन आज से 24 घण्टे अब झारखंड,बिहार और बंगाल के लोग इमरजेंसी सेवा का लाभ भी ले सकेंगे. योग दिवस के अवसर पर स्थानीय सांसद निशिकांत दुबे ने एम्स के इमरजेंसी वार्ड का उद्घाटन किया. 30 बेड के इमरजेंसी सेवा में गंभीर मरीजों को अत्याधुनिक जीवन रक्षक उपकरणों की सुविधा मिलेगी. 30 बेड में 20 बेडों में वेंटिलेटर की सुविधा मिलेगी. सभी 30 बेड में क्रिटिकल इक्विपमेंट इंस्टॉल किये गये हैं. इसमें ऑक्सीजन हर्टमॉनिटर, डिफिब्रिलेटर सहित कई इक्विपमेंट इंस्टॉल किये गये हैं. जिससे गंभीर रूप से बीमार व घायल रोगियों की जान बचाने में मदद मिलेगी.

फिलहाल इमरजेंसी सेवा की शुरुआत में छाती, पेट में तेज दर्द, खांसी और खून की उल्टी,जलन, गहरे घाव, सांस लेने में कठिनाई और फूलना, गंभीर सिरदर्द, तेज बुखार आदि रोगियों की भर्ती व इलाज शुरू हो गया है. आने वाले दिनों में एम्स के इमरजेंसी सेवा में ट्रॉमा सेंटर की सुविधा भी मुहैया होने लगेगी. वही जल्द ही यहाँ पर ब्लड बैंक की सुविधा भी मिलने लगेगी. इस साल के अंत तक एम्स के इमरजेंसी वार्ड में ब्रेन हेमरेज व हृदय गति वाले रोगियों का भी इलाज शुरू हो जाएगा.

सांसद निशिकांत दुबे ने क्या कहा

उद्घाटन के मौके पर सांसद निशिकांत दुबे ने कहा कि केंद्र सरकार प्राथमिकता के तौर पर देवघर एम्स को जल्द से जल्द पूर्ण रूप से संचालित करने पर तेज़ी से काम कर रही है. बताया कि इमरजेंसी वार्ड को रेड,येलो और ग्रीन कैटोगरी में बांटा गया है. महिला पुरुष के लिए अलग अलग वार्ड बनाया गया है. सांसद ने कहा कि देवघर एम्स के निदेशक और इनकी टीम काफी मेहनत कर रही है. कहा कि वो दिन दूर नहीं जब देवघर एम्स अपने इलाज के लिए पूरे देश में अपना अलग पहचान स्थापित करेगा.

एम्स के कार्यकारी निदेशक डॉ सौरभ वार्ष्णेय ने क्या कहा

वही एम्स के कार्यकारी निदेशक डॉ सौरभ वार्ष्णेय ने कहा कि आपातकालीन सेवाएं स्थानीय के लिए ही नहीं बल्कि आसपास के जिलों के लिए भी बहुत जरूरी था. इन्होंने उम्मीद जताई है कि यहाँ आने वाले मरीज का इलाज ऐसा हो सके की वे बिल्कुल ठीक हो कर अपने घर वापस चले जाएं इन्हें किसी अन्य राज्यों का रुख नहीं करना पड़े.

रिपोर्ट: रितुराज सिन्हा