वर्तमान राजनीतिक माहौल के बीच कांग्रेसी खेमा सक्रिय , सरकार में ताकत बढ़ाने की हो रही कवायद
रांची- माइनिंग लीज मामले में मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन जिस तरह विपक्ष के जाल में फंसे हैं.इसका परिणाम क्या होता है यह तो भविष्य बताएगा. पर सरकार में साझीदार कांग्रेस मजबूत हुई है. ऐसा नहीं है कि कांग्रेस पहले कमजोर थी. आंकड़ों के लिहाज से सरकार की ताकत कांग्रेस की बदौलत मजबूत बनी हुई है. वर्तमान समय में सियासत भले ही करवट बदल रही हो.चर्चा का बाजार गर्म है .पर कांग्रेस सहारा दे रही है.कांग्रेस के नेता खुश रहेगी की सरकार की सफलता में उनके योगदान को अब ज्यादा महत्वपूर्ण माना जाएगा.
वर्तमान संकट में कांग्रेस की पुछ बढ़ी
राजनीतिक विश्लेषक मानते हैं कि वर्तमान संकट में सत्ता का नेतृत्व कर रहे जेएमएम को अब कांग्रेस के सहारे की जरूरत है कुछ कांग्रेसी नेता कहते हैं कि अभी तक ऐसा देखा जा रहा था की जेएमएम अपनी तुलना में कांग्रेस को बहुत कम तवज्जो दे रहा था. आज के संकट में जेएमएम को कांग्रेस के हाथ की जरूरत है.
जेएमएम को कांग्रेस के सहारे की जरूरत
संकट का दौर यह किस रूप में खत्म होगा फिलहाल कहना मुश्किल है लेकिन कांग्रेस को यह लग रहा है कि सरकार गिरने का कोई खतरा फिलहाल नहीं है.हां, चेहरा जरूर बदल सकता है.इन परिस्थितियों में कांग्रेस अपना दबाव बढ़ाना शुरू करेगी एक मंत्री पद अभी खाली है. इसके अलावा राज्यसभा का चुनाव भी आ रहा है. कांग्रेस का यह प्रयास होगा कि वह अपना सिक्का चला ले.
कांग्रेस भीतर ही भीतर खुश है कि अब उसे बारगेनिंग करने का मौका मिलेगा बोर्ड और निगम के गठन में भी उसकी पसंद को महत्व मिलेगा अभी तक ऐसा देखा जा रहा था कि कांग्रेस को सेकंड हैंड ट्रीटमेंट मिल रहा था. वैसे जेएमएम नेताओं का कहना है कि कांग्रेस को सम्मान में कहीं कोई कमी नहीं है.सत्ता में साझेदारी में उसका महत्वपूर्ण हिस्सा बनता है.
सरकार में कांग्रेस की ताकत बढ़ेगी
कांग्रेस नेताओं के बयान को बारीकी से देखें तो लगता है कि वह भी मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को गलत ठहरा रहे हैं राष्ट्रीय प्रवक्ता डॉ अजय ने कहा है कि हमें जनता के लिए वफादार होना चाहिए. राजनीति में ईमानदारी पारदर्शिता और निष्ठा बेहद जरूरी है. व्यक्तिगत स्वार्थ की पूर्ति के लिए कोई भी काम करना गलत है.
कांग्रेस में फीलगुड
दिल्ली के भी कांग्रेसी नेताओं का यह मानना है कि मुख्यमंत्री को अपने नाम माइनिंग लीज आवंटित नहीं कराना चाहिए. इससे कांग्रेस की भी बदनामी हो रही है. कमोबेश कांग्रेस हैप्पी हैप्पी है.आने वाले समय में कांग्रेस की इस सरकार में चलती और बढ़ेगी. वर्तमान सियासी प्रकरण में यह पॉजिटिव साइड इफेक्ट है.
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