टीएनपी डेस्क(TNP DESK): देश की अभी सबसे बड़ी समस्या बेरोजगारी की है. दुनिया भर में मंदी छाई हुई है. इसके कारण प्राइवेट सेक्टर में भी रोजगार कम हो रहे हैं. आए दिन खबर आती है कि किसी मल्टी नेशनल कंपनी ने हजारों और लाखों कर्मचारियों को काम से निकाल दिया. ऐसी स्थिति में लोगों की निगाहें सरकार और सरकारी तंत्र पर टिकी. मगर, सरकारी तंत्र और भी फेल साबित हुआ दिखा. ऐसा इसलिए कहा जा रहा है क्योंकि सरकारी नौकरी में साल-दर साल नियुक्तियां घटती गई हैं. केन्द्रीय कार्मिक मंत्री जितेंद्र सिंह ने संसद में लिखित जवाब पेश किया है. इस जवाब में उन्होंने 2014 से लेकर 2022 तक प्रतिवर्ष सरकारी नौकरी से जुड़ा हुआ आंकड़ा पेश किया है. सरकार का दावा है कि 2014 से अबतक सरकार ने 07 लाख 22 हजार 311 पदों पर केंद्र सरकार में नौकरियां दी गई हैं.

केंद्र सरकार ने दिए आंकड़े

सरकार इस जवाब से और सात लाख नौकरियां देने के अपने दावे पर अपनी पीठ जरूर थपथपा ली. मगर, यही आंकड़ें एक और इशारा कर रहे हैं. और इन आंकड़ों को देखकर सरकारी नौकरी की तैयारी करने वाले युवाओं को बड़ा झटका लग सकता है. आइए इन आंकड़ों पर बात करते हैं.

केन्द्रीय कार्मिक मंत्री जितेंद्र सिंह ने संसद में जो आंकड़ा पेश किया है. वो इस प्रकार है.......  

  • साल 2014-15 में एक लाख 30 हजार 423 लोगों को जॉब्स मिले.
  • साल 2015-16 में एक लाख 11 हजार 807 लोगों को रोजगार दिया.
  • वर्ष 2016-17 में एक लाख 01 हजार 333 लोगों को सरकारी नौकरी मिली.
  • साल 2017-18 में 76 हजार 147 लोगों को केंद्र की नौकरी दी गई.
  • वर्ष 2018-19 में 38 हजार 100 लोगों को जॉब्स मिले हैं.
  • साल 2019-20 में एक लाख 47 हजार 96 लोगों को केंद्र की नौकरी मिली.
  • साल 2020-21 में 78 हजार 555 लोगों को नौकरी दी गई.
  • साल 2021-2022 में 38 हजार 850 लोगों को केंद्र सरकार ने नौकरियां दी है.

आइए अब इन आंकड़ों को समझते हैं. 2014-15 में केंद्र सरकार ने एक लाख 30 हजार 423 लोगों को नौकरी दी. 2015-16 में यह आंकड़ा घटकर एक लाख 11 हजार 807 हो गया. वहीं फिर यह आंकड़ा घटता गया. 2018-19 में यह आंकड़ा घटकर 38 हजार 100 तक पहुंच गया. इसके बाद 2019-20  इन आंकड़ों में थोड़ी बढ़ोतरी हुई और इस साल केंद्र ने एक लाख 47 हजार 96 लोगों को नौकरी दी. इसके बाद फिर से ये आंकड़ा घटा और 2020-21 में 78 हजार 555 लोगों को नौकरी दी गई. वहीं साल 2021-2022 में यह आंकड़ा 38 हजार 850  तक जा पहुंचा. इससे समझा जा सकता है कि नौकरी भले ही मिली हो, मगर, यह आंकड़ा घटता जा रहा है.

अप्लाइ किये गए लोगों का आंकड़ा

सरकार का इन आंकड़ों में यह भी बताया गया है कि इन सालों में कितने लोगों ने नौकरी के लिए अप्लाई किया है. ये आंकड़ा सरकार के नौकरी देने के आंकड़ों का खुद ही विरोधाभास है, क्योंकि नौकरी के लिए अप्लाइ करने वाले लोगों की संख्या साल दर साल बढ़ी है, वहीं नौकरी मिलने वालों की संख्या घटती गई है. इसके लिए केन्द्रीय मंत्री ने एक और आंकड़ा पेश किया है. इस आंकड़े में 2014 से 2022 तक हर साल इन नौकरी के लिए कितने लोगों ने अप्लाई किया है, इसका ब्यौरा दिया गया. ये आंकड़ा है......

  • 2014-15 - 2.32,22,083
  • 2015-16 - 2.95.51,844
  • 2016-17 - 2,28.99,612
  • 2017-18 - 3.94,76,878
  • 2018-19 - 5,09,36,479
  • 2019-20 - 1,78,39,752
  • 2020-21 - 1,80,01,469
  • 2021-22 - 1,86,71,121

TOTAL (2014-22) - 22,05,99,238

अगर इन आंकड़ों पर गौर करें तो 2020-21 और 2021-22 के बीच कोरोना के कारण कम लोगों ने अप्लाई किया और उसकी तुलना में कम लोगों को नौकरी भी मिली. मगर, अगर इन दो सालों को छोड़ दिया जाए, तो लोगों ने जिस संख्या में अप्लाइ किया है उसकी तुलना में बहुत ही कम लोगों को नौकरी मिली है. साल 2018-19 की बात करें तो 5,09,36,479 लोगों ने सरकारी नौकरी क लिए अप्लाइ किया था. जिसमे केंद्र सरकार ने मात्र 38 हजार 100 लोगों को ही नौकरी दी. इन आंकड़ों से समझ जा सकता है कि सरकारी नौकरी में नियुक्तियां दिन प्रतिदिन कम होती जा रही है. ऐसे में सरकार द्वारा 7 लाख नौकरी देने के लिए वाहवाही बटोरना कहां तक सही है. ये विचार करने योग्य है.