धनबाद (DHANBAD): धनबाद के अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश अष्टम उत्तम आनंद की हत्या के मामले में सीबीआई के विशेष न्यायाधीश की अदालत ने आज हत्यारों राहुल वर्मा एवं लखन वर्मा को आजीवन कारावास (ता उम्र )की सजा सुनाई.  28 जुलाई को उन्हें दोषी करार दिया गया था.  पिछले साल 28 जुलाई को उत्तम आनंद मॉर्निंग वॉक पर निकले थे, वह सड़क पर टहल रहे थे तभी एक ऑटो ने उन्हें टक्कर मार दी थी.  

इसके बाद वह सड़क के किनारे गिर पड़े.  उन्हें अस्पताल ले जाया गया , जहां डॉक्टरों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया.  टक्कर मारने के बाद ऑटो चालक भाग निकले थे. ऑटो को भी उन्होंने छुपा रखा था.  पुलिस ने उन्हें गिरफ्तार किया.  उसके बाद इस मामले की जांच सीबीआई के हाथों में चली गई.  सीबीआई ने जांच पड़ताल के बाद न्यायालय में चार्जशीट दाखिल की, जिसके बाद 28 जुलाई को आरोपियों को दोषी करार दिया गया था और आज आजीवन कारावास की सजा सुनाई गई.  2 फरवरी 22 को अदालत ने आरोप का गठन किया था और 7 मार्च 22 को इस मामले में  पहले गवाह की गवाही हुई थी. 

 इस घटना ने सभी को झकझोर कर रख दिया था. सीबीआई की टीम ने धनबाद में कई लोगों से अलग-अलग पूछताछ की. घटनास्थल पर कई बार  रिक्रिएशन किया गया.  बचाव पक्ष के अधिवक्ता कुमार विमलेन्दु ने कहा कि (टिल डेथ) आजीवन कारावास की सजा दी गई है.  इस आदेश के खिलाफ वह हाईकोर्ट जाएंगे.  हो सकता है कि हाईकोर्ट से कोई बड़ी राहत मिले.  दूसरी ओर धनबाद बार एसोसिएशन के पूर्व अध्यक्ष अधिवक्ता राधेश्याम गोस्वामी ने कहा कि यह मामला दुर्घटना का नहीं था, जानबूझकर जज साहब की हत्या की गई थी और यह घटना पूरी न्याय व्यवस्था पर हमला है. 


रिपोर्ट : शाम्भवी सिंह के साथ प्रकाश