गुमला(GUMLA):गुमला मुख्यालय में स्थित बिरसा मुंडा एग्रो पार्क में प्रथम पुस्तक मेले का आयोजन किया गया है, दो दिवसीय इस पुस्तक मेले में कई गतिविधियों का आयोजन किया गया है.दूर-दूर से कई तरह के पुस्तकों के स्टॉल लगाए गए हैं, जो यहां आनेवाले छात्रों एवं जनता को काफी आकर्षित कर रहे हैं.गुमला उपायुक्त कर्ण सत्यार्थी ने बताया कि गुमला से कई साहित्यकार निकाल कर आए हुए हैं और विगत दिनों के सभी प्रखंडों में पुस्तकालय का निर्माण किया जा रहा है. इस तरह से एक माहौल शिक्षा के प्रति बन रहा है, ऐसे में पुस्तक मेला का आयोजन करके यहां की जनता को पुस्तकों की प्रति ज्यादा से ज्यादा रुचि पैदा करना उद्देश्य है.
किताबों से लोगों को अपनी भाषा संस्कृति को समझने में मदद मिलती है
गुमला के अपर समर्थ सुधीर कुमार गुप्ता जो विगत दोनों जिले के विभिन्न पुस्तकालय को लेकर चर्चा में थे उनका कहना है कि गुमला जिले में पहले मात्र एक पुस्तकालय था लेकिन अब मुख्यालय में दो बड़े पुस्तकालय के अलावा हर प्रखंड में इसका निर्माण किया जा रहा है. और पुस्तकालय से छात्रों को जोड़ा जा रहा है. वहीं यहां पुस्तक मेला का भी आयोजन किया जाना क्षेत्र की जनता को प्रबुद्ध करने में एक आम भूमिका निभाएगा.नागपुरी भाषा की लेखिका शकुंतला मिश्रा ने कहा कि इस तरह का आयोजन प्रत्येक साल झारखंड के हर जिले में होना चाहिए.इससे लोगों को अपनी भाषा संस्कृति को समझने में मदद मिलती है. उन्हें पता चलता है कि उनकी जो मातृभाषा है वह कितनी समृद्ध है और अपने साहित्य के प्रति लोगों का रुझान बढ़ता है.
बेहतरीन पुस्तक लोगों की जीवन शैली बदल सकता है
एनडीसी गुमला सिद्धार्थ शंकर चौधरी ने बताया कि पुस्तक अवश्य पढ़ाना चाहिए पुस्तक पढ़ने से विचारधारा बदलता है लोग प्रबुद्ध होते हैं. पुस्तक मेला ऐसे तो जिला प्रशासन के द्वारा लगाया गया है लेकिन इसका लाभ प्रत्येक क्षेत्रवासी उठा सकता है. पुस्तक मेला में कई बेहतरीन पुस्तकों का संकलन है जो लोगों के जीवन शैली बदल सकता है.स्कूल की प्रिंसिपल साजिया खातून ने बताया कि यह पुस्तक मेला छात्रों के लिए बहुत ही महत्वपूर्ण है इसमें छात्र अपने लेवल से ऊपर की भी पुस्तक आकर देख सकते हैं और उसे पढ़ सकते हैं.
रिपोर्ट: सुशील कुमार सिंह
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