पटना(PATNA): झारखंड के बड़े भाई बिहार में अभी दो पॉलिटिकल परिवारों के लोगों की राजनीति में धमाकेदार एंट्री की खूब चर्चा है.  एक तो चर्चा यह है कि लालू प्रसाद के परिवार से बेटे  तेज प्रताप, तेजस्वी ,बेटी मीसा भारती और पत्नी  राबड़ी देवी के बाद पाचवा भी क्या कोई राजनीति में कदम रख सकता है.  तेजस्वी यादव की पत्नी राजश्री यादव के नाम की खूब चर्चा हो रही है.  लालू प्रसाद यादव अभी पटना में ही है.  अब तो वह बीमारी के कारण कमजोर दिख रहे हैं, लेकिन जिस तरह लालू प्रसाद ने विपरीत परिस्थिति सामने आने पर विशुद्ध रूप से  घर की चौखट के भीतर रहने वाली पत्नी राबड़ी देवी को मुख्यमंत्री बनाकर सिर्फ बिहार को ही नहीं, बल्कि पूरे देश को चौंका दिया था. फिलहाल  तैयारी यही है कि राजश्री यादव को भी राजनीति में उतार दिया जाए. 
 
राजश्री यादव राजनीति में तो विवाद रहित भी है

 राजश्री यादव के पक्ष में यह  एक बड़ी बात है कि अभी हाल ही में उनका तेजस्वी के साथ विवाह हुआ है और  वह राजनीति में तो विवाद रहित है.  वैसे भी, सीबीआई और ईडी के फेर में लालू प्रसाद यादव का परिवार फंसा हुआ है.  शुरू से ही भाजपा के प्रबल विरोधी भी रहे हैं लालू प्रसाद यादव, इस वजह से डर तो सता  ही रहा होगा.  ऐसे में कभी भी 2024 के पहले राजश्री यादव की इंट्री राजनीति में हो जाए तो कोई आश्चर्य नहीं. वैसे, राबड़ी देवी राजनीति में जब आई थी, उस समय निश्चित रूप से उन्हें यह सब अ सहज लग रहा होगा लेकिन अब तो वह राजनीति की  जानकार  खिलाड़ी लगाने लगी है.  नापतोल कर बोलना भी सीख गई है.  विपरीत परिस्थितियों से लड़ना भी उन्हें आ गया है.  बिहार में अभी तेजस्वी यादव उप मुख्यमंत्री है.  कई दौर की उनसे भी पूछताछ हो चुकी है.  विपक्षी एकता में नीतीश कुमार के साथ तेजस्वी यादव भी  सहयोगी बने हुए है. 

हाजीपुर से चिराग पासवान की माँ लड़ सकती है चुनाव 
 
इधर, यह भी चर्चा है कि स्वर्गीय रामविलास पासवान की पत्नी रीना पासवान भी राजनीति में उतर  सकती है.  रामविलास पासवान के पारंपरिक सीट  हाजीपुर से 2024 में चुनाव लड़ सकती है.  राजनीति में अभी परिपक्व होने का इंतजार कर रहे पुत्र और लोजपा (आर )के अध्यक्ष चिराग पासवान को अकेले वह छोड़ना नहीं चाहती है.  इसलिए भी राजनीति में आना उनकी इच्छा कम, मजबूरी अधिक हो गई है.  वैसे भी रामविलास पासवान ने अपने भाई- भतीजे को राजनीति सिखाई और उन्हें ऊंचाई भी दिलवाई.  लेकिन उनके निधन  के बाद रामविलास पासवान के परिवार को भाइयों ने धोखा दे दिया.  लोजपा के 5 सांसदों के साथ उनके भाई पशुपति पारस केंद्रीय मंत्री बन गए.  यह स्थिति रामविलास पासवान के परिवार लिए और भी  अ सहज हो गई. इस परिस्थिति से उबरने के लिए रामविलास पासवान के परिवार ने जमीनी काम शुरू किया.  चिराग पासवान की मां और वह खुद अपनी दूसरी मां से गले मिले और मेल जोल  किया.  इसे भी  राजनीति से जोड़ कर देखा गया है.  

रामविलास पासवान को लालू प्रसाद कहते थे मौसम वैज्ञानिक

रामविलास पासवान को तो लालू प्रसाद ने ही मौसम वैज्ञानिक का खिताब दिया था.  लालू प्रसाद कहते थे कि रामविलास पासवान देश के बड़े मौसम वैज्ञानिक हैं, कब किधर जाएंगे, कोई नहीं जनता. जब तक जीवित रहे, सत्ता के साथ रहे.  फिलहाल उनके पुत्र चिराग पासवान नीतीश कुमार के विरोधी है.  अपने को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का हनुमान कह  चुके हैं लेकिन इसका बहुत कुछ लाभ उनको नहीं मिला.  चिराग पासवान के बजाय भाजपा ने पशुपति पारस को साथ लिया  और वह फिलहाल केंद्र में मंत्री बने हुए है.  ऐसे में 2024 के चुनाव को देखते हुए बिहार में अपनी -अपनी गोटी अपने-अपने ढंग से सेट करने का काम शुरू हो गया है.  विपक्षी एकता की बात भी बिहार से निकलकर दूसरे प्रदेशों और दूसरे नेताओं तक जा रही है.  ऐसे में आगे  क्या होगा, यह देखना बहुत ही दिलचस्प और आश्चर्यचकित करने वाला हो सकता है. 

रिपोर्ट -धनबाद ब्यूरो