रांची (RANCHI) : तंबाकू नियंत्रण के लिए सोसिओ इकनोमिक एंड एजुकेशनल डेवलपमेंट सोसाइटी (सीड्स) ने एक बार फिर कमर कसी है. संस्था के कार्यपालक निदेशक दीपक मिश्रा ने प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी को पत्र लिखकर देश के भविष्य खासतौर पर युवाओं और नाबालिगों की चिंता करते हुए पूरे देश में पान मसाला, गुटखा और चबाने वाले सुगन्धित तम्बाकू (SLT) उत्पाद बनाने वाले उद्योगों पर पूर्ण प्रतिबन्ध लगाये जाने  की मांग की है.

90% मुंह के कैंसर का कारण तंबाकू
 
दीपक मिश्रा के अनुसार तम्बाकू उपयोग के कारण हर साल विश्व स्तर पर लगभग 80 लाख लोग और भारत में 13.5 लाख से अधिक भारतीयों की मृत्यु होती है. ग्लोबल एडल्ट टोबैको सर्वे रिपोर्ट 2017 (GATS 2) के अनुसार भारत में लगभग 27 करोड़ लोग  तंबाकू का उपयोग कर रहे हैं, जिनमें से 20 करोड़ सुगन्धित तम्बाकू, गुटखा और पान मसाला सहित चबाने वाले तंबाकू (SLT) उत्पादों का उपयोग कर रहे हैं. तम्बाकू सेवन देश की उत्पादकता और अर्थव्यवस्था के लिए बहुत बड़ी चुनौती है. कैंसर विशेषज्ञों के मुताबिक लगभग 90 प्रतिशत मुंह का कैंसर तम्बाकू सेवन करने वाले व्यक्तियों को होता है.

विज्ञापनों पर लगे रोक

संस्था के कार्यपालक निदेशक ने बताया कि पान मसाला उद्योग बॉलीवुड सितारों के माध्यम से विज्ञापन कर रहे हैं. इस तरह के विज्ञापन उपभोक्ता के स्वास्थ्य को नुकसान पहुंचा सकते हैं. ऐसे भ्रामक विज्ञापनों पर अविलंब प्रतिबन्ध लगाने की आवश्यकता है. उन्होंने बताया कि विगत वर्षों में झारखण्ड और बिहार सरकार ने पान मसाला के विभिन्न ब्राण्डों के नमूनों की जाँच करवाया था जिसमें मैग्नीशियम कार्बोनेट और निकोटिन की मात्रा पाई गई थी, जो स्वास्थ्य के लिए खतरनाक रसायन है. दोनों राज्य सरकारों  ने केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय को पत्र लिखकर उक्त पान मसाला ब्राण्डों को प्रतिबंधित करने का आग्रह करते हुए अपने प्रदेश में इसे प्रतिबंधित कर दिया था.