धनबाद(DHANBAD): मनी ट्रेलिंग  के जरिए पुलिस रीता राय उर्फ गीता देवी तक पहुंचने की कोशिश कर रही है.  क्या वह शातिर  महिला किसी बड़े साइबर अपराधी गिरोह  की सदस्य है, इस बात की भी पुलिस जांच कर रही है.  रीता राय ने ऐसा कुछ कर दिया है कि सारे लोग चौंक गए है.  धनबाद के पुलिस लाइन में रहने वाली एक झाड़ू -पोछा करने वाली महिला अपर्णा देवी  को सरकारी योजनाओं का लाभ दिलाने का झांसा देकर पहले खाता खुलवाया.  उसके बाद महिला की अनुपस्थिति में घर से  एटीएम और पासबुक को अपने कब्जे में लिया. 

ढाई करोड रुपए खाते में मंगाए और निकाल लिया 

 फिर ढाई करोड रुपए उस खाते में मंगाए  और किस्तों में राशि निकाल ली.   उसके बाद महिला फरार हो गई है.  इतनी बड़ी लेनदेन की जानकारी होने पर बैंक कर्मी  में नौकरानी को खोजते हुए उसके घर पहुंचे.  बैंककर्मियों ने उसे ढाई करोड रुपए के लेनदेन की जानकारी दी.  पुलिस लाइन, बाउरीपाड़ा   की रहने वाली अपर्णा देवी ने मामले की शिकायत धनबाद साइबर थाना में की है.  उसने आवेदन में  बताया है कि बैंक ऑफ़ महाराष्ट्र, सरायढेला शाखा में उसके बैंक खाते से ढाई करोड रुपए का अनाधिकृत लेनदेन हुआ है.  उसने यह भी कहा है कि वह पढ़ी-लिखी नहीं है. 

चूल्हा -चौका कर अपने परिवार का पेट पालती  है अपर्णा देवी 
 
लोगों के घरों में चूल्हा -चौका कर अपने परिवार का पेट पालती  है. उसने बताया है कि  केंद्रीय अस्पताल,धनबाद  के पास रहनेवाली रीता राय से उसकी मुलाकात हुई.  उसने अपर्णा को₹5000 प्रतिमाह  सरकारी सहायता दिलाने की बात कही.  बताया कि इसके लिए बैंक खाता खुलवाना पड़ेगा.  बात इतनी ही नहीं थी, बैंक खाता खुलवाने के लिए जब अपर्णा के पास पैसे नहीं थे, तो रीता ने ही उसे ₹2000 दिए थे.  18 अक्टूबर 2024 को खाता खुला था.  खाता खुलने के बाद   बैंक की ओर से पासबुक और एटीएम कार्ड दिए गए थे.  कार्ड और पासबुक वाला लिफाफा लेकर वह अपने घर आ गई थी.  अपर्णा ने पुलिस को बताया कि खाता खोलने के बाद रीता राय उसके घर आई, उस समय वह घर पर नहीं थी.  बेटी  को बताया कि सरकारी राशि के लिए एटीएम और पास बुक  की जरूरत है. 

अनपढ़ से  एटीएम -पासबुक लेने के बाद गायब हो गई महिला 

 एटीएम और पासबुक लेने के बाद वह गायब हो गई.  कई बार अपर्णा गीता के संबंध में पता लगाने की कोशिश की, लेकिन उसका कोई  पता नहीं चला.  बताया जाता है कि अपर्णा ने पुलिस को 54 पेज का एक बैंक स्टेटमेंट भी दिया है.  प्रारंभिक जांच में पता चला है की रीत उर्फ गीता ने बैंक के ऑपरेशन को अपने कंट्रोल में रखा था.  इंटरनेट और मोबाइल बैंकिंग के इस्तेमाल से रुपए मंगाए  और निकाले  गए है.  छोटी-छोटी रकम यूपीआई के माध्यम से अपर्णा के बैंक खाते में आए हैं, जबकि छोटी-छोटी रकम बैंक खाते में आई लेकिन मोटी-मोटी राशि बैंक खाते से निकाल ली गई है.  अंदेशा लगाया जा रहा है की रीत उर्फ गीता साइबर ठगो   से जुड़ी हुई है या फिर वह स्वतंत्र रूप से अपना कोई साइबर ठग गिरोह  चलाती है.  

रिपोर्ट -धनबाद ब्यूरो