धनबाद(DHANBAD) : धनबाद और गोविंदपुर रजिस्ट्री कार्यालय के अधिकारियों की गर्दन फंस सकती है. आयकर विभाग की टीम ने 12 एवं 14 नवंबर को धनबाद एवं गोविंदपुर अवर निबंधक कार्यालय में सर्वे किया था. इस दौरान कई दस्तावेजों की जांच की गई. सूत्र बताते हैं कि अब तक 1600 से अधिक जमीन और संपत्ति की डीड पकड़ में आई है. जिनका निबंधन बिना पैन कार्ड के हुआ है. इन सभी एकल डीड का मूल्य 10 लाख रुपए से अधिक है. बता दें कि आयकर विभाग 10 लाख रुपए से कम मूल्य की डीड की जांच नहीं कर रहा है.
सूत्रों के अनुसार जांच के दौरान पता चला है कि नियमों को ताक पर रखकर न तो पैन कार्ड का इस्तेमाल किया गया है और न हीं फॉर्म 60 भरवाया गया है. नियम कहता है कि 10 लाख रुपए से अधिक मूल्य की संपत्ति की खरीद- बिक्री में पैन कार्ड या फॉर्म 60 जरूरी है. निबंधन विभाग को इन संपत्तियों की डीड की सूचना आयकर विभाग को देनी पड़ती है. आयकर विभाग की जांच में कई और गड़बड़ियां सामने आई है.
कई बड़े कारोबारियों ने नियम की अनदेखी कर संपत्ति खरीदी है. कई मामलों में तो आयकर रिटर्न से मिलान किया जा रहा है. सूत्रों के अनुसार अधिक राशि जमीन में निवेश की गई है. सूत्र बताते हैं कि इस मामले में निबंधन कार्यालय के कुछ अधिकारियों, कर्मियों की गर्दन भी फंस सकती है. सूत्र तो यह भी बताते हैं कि आयकर विभाग की सर्वे के बाद धनबाद में जमीन एवं मकान में कुछ सफेदपोश नेता या व्यापारी भी पकड़ में आ सकते है.
रिपोर्ट -धनबाद ब्यूरो

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