रांची(RANCHI) : सर्वाइकल कैंसर की स्क्रीनिंग को लेकर राज्य के स्वास्थ्य मंत्री बन्ना गुप्ता ने मंगलवार को रातू के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में मेगा महिला स्वास्थ्य शिविर और सरकारी महिला डॉक्टरों के लिए प्रशिक्षण शिविर का उद्घाटन किया. विमेंस डॉक्टर्स विंग IMA अध्यक्ष भारती कश्यप और स्वास्थ्य विभाग की ओर से आयोजन किया गया. मौके पर राज्य के स्वास्थ्य मंत्री बन्ना गुप्ता ने कहा कि यह सेवा एक अभियान है. लोगों में इसे लेकर जागरूकता जरुरी है. सर्वाइकल कैंसर की जागरूकता को लेकर कैंप लगाया जाता है. इस बीमारी को समय पर पहचान लिया जाए तो इसका इलाज कर समस्या को दूर किया जा सकता है.
शादी की सालगिरह पर डॉक्टर से कराएं इलाज
दिल्ली मैक्स हॉस्पिटल की महिला डॉक्टर कनिका गुप्ता ने कहा कि सर्वाइकल कैंसर के कारण हर आठ मिनट में एक महिला की मृत्यु हो रही है. इसलिए हर महिलाओं को हमेशा जांच कराते रहना चाहिए. शादी की सालगिरह पर महिलाओं को डॉक्टर के पास जाकर इलाज करना चाहिए. इस बीमारी को लेकर हमेशा समझे और अपनी सहेलियों को भी जागरूक करें. इस अभियान का मुख्य लक्ष्य इस बीमारी से निजात दिलाता है.
SPV वायरस से सर्वाइकल कैंसर की बीमारी होती है
राज्य के स्वास्थ्य सचिव अरुण सिंह ने कहा कि यह अभियान राज्य में 2015 में ही शुरू किया गया था. बीच में यह अभियान धीमा हो गया था. राज्य में 6 प्रतिशत महिलाएं इस रोग से पीड़ित हैं. इस बीमारी के होने का मुख्य कारण सफाई से नहीं रहना है. SPV वायरस से सर्वाइकल कैंसर की बीमारी होती है. सही समय पर इलाज होने से इसे ठीक किया जा सकता है. सहिया को प्रशिक्षित कर महिलाओं को चिन्हित कर सबका स्क्रीनिंग कर इलाज किया जाएगा. राज्य में कुल 960 महिलाओं की स्क्रीनिंग की गयी थी.जिसमे 9 महिलाएं ही पॉजिटिव पायी गयी थी,यह जाँच भी सही तरीके से नहीं हो पाया था.इस मेगा महिला स्वास्थ्य के तहत महिलाओं का स्वास्थ्य जाँच किया जायेगा.शिविर में आने वाली सभी महिलाओं को एक महीने की आयरन फोलिक एसिड,एवं कैल्सियम की गोलियां मुफ्त बांटी जा रही है.इस शिविर में सभी ग्रसित महिलाओं को कीट -2 एवं किट-6 की गोलियां मुफ्त में बांटी जाएँगी.
23 में से 11 सदर अस्पताल में मशीन लगवाया
IMA महिला विंग की डॉ भारती कश्यप ने कहा कि 2015 से ही सर्वाइकल कैंसर उन्मूलन अभियान चलाया जा रहा था. सरकारी सदर अस्पताल में सर्वाइकल स्क्रीनिंग मशीन खुद के वित्त्तीय मदद से लगवाया था. झारखण्ड की स्थिति की स्थिति पश्चिम बंगाल से बेहतर है. सरकारी स्त्री रोग के विषेशज्ञों से प्रशिक्षण दिलवाया है. इस बीमारी की पहचान और उपचार के लिए सरकारी सदर अस्पताल में स्थानीय विधायकों और राजयपाल द्रौपदी मुर्मू के सहयोग से मशीन लगवाया है. रातु CHC में उस मशीन से 100 से अधिक महिलाओं का इलाज भी किया गया है. लक्ष्य प्राप्त करने में अब दिक्कतों का सामना नहीं करना पड़ेगा. हाई रिस्क केटेगरी वाली 6 प्रतिशत महिलाओं का इलाज को टारगेट किया गया है. रांची में 22 हजार महिलाओं की स्क्रीनिंग करनी है. सरकारी अस्पतालों में लगातार स्क्रीनिंग चलाने से इस बीमारी को राज्य से मिटाया जा सकता है.
सर्वाइकल कैंसर के प्रमुख कारण
18 वर्ष के काम उम्र में सम्भोग करना, एक से अधिक लोगों के साथ सम्बन्ध स्थापित करना, कई बार गर्भपात कराना, गर्भनिरोधक दवाइयों का सेवन करना, धूम्रपान और तम्बाकू का सेवन करना.
रिपोर्ट : रंजना कुमारी (रांची ब्यूरो)
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